कनाडा में नया बिल पेश: अस्थायी वीजा वाले लाखों भारतीयों का बढ़ा तनाव
कनाडा की संसद में एक नया बिल पेश किया गया है, जिसके प्रस्ताव से वहां रह रहे लाखों भारतीय प्रवासियों की चिंता बढ़ गई है। यह बिल कनाडाई अथॉरिटी को अस्थायी वीजा धारक भारतीय नागरिकों को कभी भी निर्वासन (Deportation) का आदेश देने या उनके वीजा रद्द करने/जारी न करने का अधिकार देगा। रिपोर्टों के अनुसार, यह निर्णय मुख्य रूप से भारत और बांग्ला देश के नागरिकों के लिए लिया जा रहा है। खास बात यह है कि कनाडा इस प्रक्रिया में अमेरिकी प्रशासन की भी मदद लेगा। जस्टिन ट्रूडो के कार्यकाल से ही भारत और कनाडा के बीच संबंधों में तनाव चल रहा है, और हाल ही में कनाडा ने भारतीय छात्रों के 74 प्रतिशत वीजा आवेदनों को खारिज कर दिया है। ऐसी स्थिति में, वीजा नियमों को सख्त करने को भारत के खिलाफ एक कदम के रूप में देखा जा रहा है।
कनाडा के इमिग्रेशन मंत्री लेना डियाब द्वारा पेश किए गए इस प्रस्ताव में इमिग्रेशन, रिफ्यूजी एंड सिटिजनशिप डिपार्टमेंट, कनाडा बॉर्डर सर्विसेज एजेंसी और अमेरिकी अथॉरिटी मिलकर काम करेंगी। हालांकि, इस बिल के कारण कनाडा में ही विवाद और विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए हैं। 300 सिविल सोसाइटी ग्रुप्स ने चिंता व्यक्त की है कि इससे सरकार को बड़े पैमाने पर लोगों को देश से निकालने की शक्ति मिल जाएगी। सरकार ने स्पष्ट किया है कि यह फैसला महामारी या युद्ध जैसी स्थितियों के लिए है, किसी देश विशेष के खिलाफ नहीं।

