गुजरात यूनिवर्सिटी में अध्यापकों के 110 पद खाली: 50% से अधिक शैक्षणिक सीटें नहीं भरी गईं, सरकार की मंजूरी पर सवाल
गुजरात यूनिवर्सिटी में पिछले कई सालों से टीचिंग और नॉन-टीचिंग पोस्ट पर स्थायी भर्ती नहीं हुई है। यूनिवर्सिटी में वर्तमान में अध्यापकों (शैक्षणिक) के 110 पद खाली हैं, जो कुल पदों का 50 प्रतिशत से भी अधिक है। यूनिवर्सिटी अस्थायी और कॉन्ट्रैक्ट आधारित नियुक्तियों से काम चला रही है।
खाली पदों का यह मुद्दा इतना गंभीर है कि इस साल NAAC (नैक) की टीम ने भी इंस्पेक्शन के बाद दी गई अपनी रिपोर्ट में इस पर गंभीर टिप्पणी की थी। यूनिवर्सिटी ने नए पदों के साथ-साथ खाली पदों को भरने के लिए सरकार से मंजूरी मांगी है, लेकिन अभी तक राज्य सरकार ने भर्ती के लिए कोई स्पष्ट मंजूरी नहीं दी है।
गुजरात यूनिवर्सिटी में पिछली बार अक्टूबर 2022 में स्थायी भर्ती की घोषणा की गई थी। हालांकि, नॉन-टीचिंग पोस्ट के लिए इंटरव्यू आयोजित होने के बाद आंतरिक विवादों के कारण वह भर्ती रद्द कर दी गई थी, और टीचिंग पोस्ट के लिए आगे कोई प्रक्रिया नहीं हुई थी।
जुलाई 2023 में कॉमन यूनिवर्सिटी एक्ट लागू होने के बाद, पिछली सभी भर्ती प्रक्रियाओं को रद्द करके उम्मीदवारों को ₹50 लाख तक की आवेदन फीस वापस करनी पड़ी थी। इसके बाद से, दोबारा नई भर्ती के लिए कोई घोषणा या प्रक्रिया नहीं हुई है। नए कानून के प्रावधानों, अस्पष्टताओं और मंजूरी में देरी के कारण भर्ती रुकी हुई है। यूनिवर्सिटी के कई विभाग सिर्फ एक से दो अध्यापकों के साथ चल रहे हैं।

