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उचित समय पर फैसला करेंगे कि सोनिया, खड़गे राम मंदिर उद्घाटन में शामिल होंगे या नहीं: कांग्रेस

कांग्रेस ने शुक्रवार को कहा कि पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी 22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर के उद्घाटन कार्यक्रम में शामिल होंगे या नहीं, इसका फैसला पार्टी उचित समय पर करेगी. कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने यहां संवाददाताओं से कहा कि गांधी और खड़गे को समारोह के लिए आमंत्रित किया गया है.उन्होंने कहा, ‘कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को राम मंदिर के उद्घाटन के लिए आमंत्रित किया गया है. उचित समय पर फैसला किया जाएगा और उचित समय पर जानकारी दी जाएगी.’

लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी को भी समारोह के लिए आमंत्रित किया गया है. मंदिर में भगवान राम के बाल स्वरूप के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा का समारोह 22 जनवरी को होगा और उसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और 6,000 से अधिक लोगों के शामिल होने की उम्मीद है.

वहीं कांग्रेस नेता शशि थरूर ने कहा कि भाजपा 2024 का लोकसभा चुनाव हिंदुत्व के मुद्दे पर लड़ सकती है और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को हिंदू हृदय सम्राट के रूप में प्रस्तुत किया जा सकता है. थरूर ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर लिखा कि मोदी 22 जनवरी को अयोध्या में राम मंदिर का और 14 फरवरी को अबू धाबी में बीएपीएस हिंदू मंदिर का उद्घाटन करेंगे, इसके बाद आम चुनाव की घोषणा की जाएगी. केरल की तिरुवनंतपुरम लोकसभा सीट से कांग्रेस के सदस्य थरूर ने कहा कि लोकसभा चुनाव हिंदुत्व बनाम जन कल्याण की लड़ाई बनने जा रहा है और आर्थिक विकास तथा हर साल दो करोड़ रोजगार देने जैसे मुद्दों पर बहस होनी चाहिए.

उन्होंने कहा, ‘संदेश स्पष्ट है। 2009 में मोदीजी को सभी भारतीयों के लिए विकास लाने वाले आर्थिक विकास के अवतार और गुजरात उद्योग जगत के सीईओ के तौर पर भारतीय मतदाताओं के बीच पेश किया गया था. 2019 में विनाशकारी नोटबंदी के मद्देनजर यह सोच धराशायी हो गई तो पुलवामा आतंकवादी हमले ने मोदीजी को आम चुनावों को राष्ट्रीय सुरक्षा पर आधारित चुनाव में बदलने का अवसर दे दिया.’
थरूर ने कहा, ‘स्पष्ट है कि 2024 में भाजपा अब अपने मूल संदेश की ओर लौटेगी और नरेन्द्र मोदी को राष्ट्र के समक्ष हिंदू हृदय सम्राट के रूप में पेश करेगी.’ कांग्रेस नेता ने पूछा, ‘इन सबसे सवाल खड़े होते हैं: अच्छे दिन का क्या हुआ? हर साल दो करोड़ नौकरियों का क्या हुआ? आर्थिक विकास का क्या हुआ जिससे निचले सामाजिक-आर्थिक पायदान वाले लोगों को फायदा होता? हर भारतीय की जेब में और बैंक खातों में राशि डालने का क्या हुआ?’ पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, ‘इस चुनाव में इन सवालों पर बहस होनी चाहिए जो हिंदुत्व बनाम जन कल्याण के चुनाव के रूप में आकार ले रहा है.’

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